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आज से बच्चों को लगेगी कोरोना वैक्सीन,पढ़िए वैक्सीनेशन से जुड़े बड़े सवालों के जवाब

देश के 15 से 18 साल के किशोरों का कोरोना वैक्सीनेशन आज से शुरू हो रहा है. कोरोना वायरस महामारी से चल रही लड़ाई के बीच भारत की तीन प्रमुख दवा कंपनियां बच्चों की वैक्सीन बना चुकी हैं. इनमें भारत बायोटेक, सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया और जायडस कैडिला शामिल हैं।

ऐसे सभी किशोर जो 2007 के पहले पैदा हुए हों. इसके लिए 1 जनवरी से रजिस्ट्रेशन शुरू हो गए हैं. नेशनल हेल्थ अथॉरिटी के अध्यक्ष डॉ. आरएस शर्मा ने बताया था कि बच्चे अपने माता-पिता के मोबाइल नंबर से रजिस्ट्रेशन करवा सकते हैं. एक नंबर पर एक ही परिवार के 4 लोगों का रजिस्ट्रेशन हो सकता है.कोरोना वायरस की दो लहर से गुजर चुके भारत में अब ओमिक्रॉन वैरिएंट का खतरा मंडरा रहा है. देशभर में रोजाना कोरोना के ओमिक्रॉन वैरिएंट के नए मामलों की संख्या में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है. जानकारों का कहना है कि लोगों ने सावधानी नहीं बरती तो देश में ओमिक्रॉन, कोरोना की तीसरी लहर का मुख्य कारण बन सकता है. यही वजह है कि ओमिक्रॉन के खतरे को देखते हुए सरकार ने बच्चों के वैक्सीनेशन को भी आज से शुरू करने का फैसला लिया है.मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक बच्चों को भी कोवैक्सीन की दो डोज लगाई जाएगी. बच्चों को दी जाने वाली दोनों डोज के बीच भी कम से कम 28 दिनों का अंतर रखना होगा.

पैरेंट्स के सामने दूसरा अहम सवाल है कि बच्‍चों की वैक्‍सीन के लिए कोई फीस वसूली जाएगी या इसे सरकार फ्री देगी। अभी 18 साल से अधि‍क उम्र के लोगों को कोरोना की जो वैक्‍सीन लगाई जा रही है, उसमें दोनों तरह के विकल्‍प हैं। लोग सेंटरों पर इन्‍हें फ्री या प्राइवेट अस्‍पतालों में पैसा देकर भी लगवा सकते हैं। अलग-अलग तरह के टीके की अलग-अलग कॉस्‍ट है।

तीसरा सवाल यह है कि वैक्‍सीन स्‍कूलों में लगाई जाएगी या फिर यह कोविड वैक्‍सीन सेंटरों पर लगेगी। अगर सेंटरों पर बच्‍चों को वैक्‍सीन लगती है तो उन्‍हें बड़ों के साथ ही खड़ा होना होगा। स्‍कूलों में वैक्‍सीन की व्‍यवस्‍था की जाती है तो बात अलग होगी। हालांकि, सरकार ने अभी इसे लेकर कोई औपचारिक ऐलान नहीं किया है।

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