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यूक्रेन में बने दुनिया के सबसे बड़े प्लेन एएन-225 ‘मिरिया’ को रूसी सेना ने किया ध्वस्त, यूक्रेनी एयरोनॉटिक्स कंपनी एंटोनोव ने बनाया था प्लेन

रूसी सेना ने दुनिया के सबसे बड़े विमान को नष्ट कर दिया है। रूसी हमले में यूक्रेन की बहुत सी यादें फना हो गईं। एएन-225 ‘मिरिया’ यूक्रेनी एयरोनॉटिक्स कंपनी एंटोनोव ने बनाया था। यह दुनिया के सबसे बड़े कार्गो विमान के रूप में पहचाना जाता था।

रूसी हमले में यूक्रेन की बहुत सी यादें फना हो गईं। लोग अपनों से बिछड़े तो बहुत सी ऐसी चीजों को उन्हें खोना पड़ा जो उनके लिए बेहद अहम थीं। रूसी सेना ने ऐसा ही एक झटका यूक्रेन की सरकार या फिर दुनिया को दिया है। जब रूसी सेना के हमले में यूक्रेन का मारिया ध्वस्त हुआ तो एक ऐसा जख्म राष्ट्रपति जेलेंस्की के सीने पर लगा जो न भूलने वाला है।

दरअसल, दुनिया के सबसे बड़े विमान को रूसी सेना ने नष्ट कर दिया है। यूक्रेन के विदेश मंत्री दिमित्रो कुलेबा ने बताया कि दुनिया के सबसे बड़े विमान को आज रूसी सैनिकों ने कीव के पास एक हवाई क्षेत्र में नष्ट कर दिया। एएन-225 ‘मिरिया’ यूक्रेनी एयरोनॉटिक्स कंपनी एंटोनोव ने बनाया था। यह दुनिया के सबसे बड़े कार्गो विमान के रूप में पहचाना जाता था।

कीव के बाहर होस्टोमेल हवाई अड्डे पर इस विमान को रूस ने गोलाबारी करके नष्ट कर दिया। विमान की क्षति से सरकार इतनी आहत है कि यूक्रेन ने अपने आधिकारिक ट्विटर हैंडल से ट्वीट किया-दुनिया के सबसे बड़े विमान ‘मिरिया’ को रूसी सेना ने नष्ट कर दिया। हम विमान का पुनर्निर्माण करेंगे। यूक्रेन की भाषा में ‘मिरिया’ को एक खास सपना कहा जाता है।

18 घंटे उड़ सकता था 600 टन का प्लेन

84 मीटर (276 फीट) लंबा ये विमान 250 टन तक का कार्गो 850 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से ले जाने में सक्षम था। कोरोना के समय़ में ये दुनिया की सबसे बड़ी उम्मीद बनकर उभरा। 2020 में इस विमान ने यूरोप में कोरोना की दवाओं के साथ अन्य जरूरी साजोसामान पहुंचाने में अहम भूमिका निभाई थी। 1988 में इसने अपनी पहली उड़ान भरी थी। सोवियत संघ के खत्म होने के बाद कई सालों तक ये यूं ही खड़ा रहा था।

‘मिरिया’ की खासियत थी कि वो 18 घंटे तक लगातार उड़ान भर सकता था। यह कार्गो प्‍लेन 600 टन वजनी था और एक बार में 640 तक का वजन ले जाने में सक्षम था। इस व‍िमान में 117 टन वजनी इलेक्‍ट्रिक जनरेटर लगा हुआ था। यह दुन‍िया का एकमात्र ऐसा व‍िमान था, ज‍िसका विंग एर‍िया बोइंग 747 प्‍लेन के विंग एर‍िया से तकरीबन दोगुना है।

सोव‍ियत आर्मी ने भी लंबे समय तक इस व‍िमान का इस्‍तेमाल लंबे समय तक किया था। एक अनुमान है कि‘मिरिया’ को फिर से दुरुस्त करने में 3 बिलियन डॉलरसे अधिक खर्च होंगे। इतने खर्च के बाद भी पांच साल में विमान दोबारा उड़ान भरने की स्थिति में आ सकेगा।

गौरतलब है कि रूस यूक्रेन के बीच चल रही लड़ाई में भारी नुकसान होने की खबर है। यूक्रेन में रह रहे प्रवासी वहां से निकल भागने की फिराक में यहां से वहां भटक रहे हैं तो वहां के लोगों ने रूसी सेना के खिलाफ हथियार उठा लिए हैं। सारी दुनिया की निगाहें रूसी सेना के हमले पर जा टिकी हैं।

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